लखनऊ, कानपुर प्रयागराज समेत अन्य जिलों में आज 30 KMPH की स्पीड से ठंडी हवाएं चलेंगी

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उत्तर प्रदेश में मौसम तेजी से करवट ले रहा है। अप्रैल महीने के अंतिम दिन शनिवार को गर्मी अपने चरम पर रही। गर्मी ने 122 सालों का रिकॉर्ड तोड़ दिया। बांदा प्रदेश का सबसे गर्म जिला रहा। यहां का अधिकतम तापमान 47.2 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया।

मौसम विभाग का अनुमान है कि आज 30 किलोमीटर प्रति घंटे की स्पीड से ठंडी हवाएं चलेंगी। कुछ स्थानों पर हल्की बारिश हो सकती है। दिन में ठंडी हवाएं चलेंगी। इससे लोगों को गर्मी और उमस से थोड़ी राहत मिलेगी। मई में सामान्य मौसम रहने की संभावना है।

यूपी के 5 सबसे गर्म जिले

जिला तापमान
बांदा 47.2
प्रयागराज 46.1
झांसी 45.2
कानपुर 45.1
आगरा 44.7

लखनऊ, कानपुर प्रयागराज समेत अन्य जिलों में आज ठंडी हवाएं चलेंगी

लखनऊ, कानपुर, प्रयागराज, वाराणसी, गोरखपुर समेत आसपास के जिलों में शनिवार रात से ही तेज हवाएं चल रही हैं। बादलों ने आसमान में डेरा डालना शुरू कर दिया है। मौसम के रुख में बदलाव आया है। ठंडी हवा चलने से तापमान में गिरावट दर्ज की गई है।

मौसम में बदलाव का असर रविवार को भी देखने को मिला। दिन की शुरुआत ठंडी हवा के साथ हुई। पूरे दिन मौसम ऐसे ही बने रहने का अनुमान है।

45.1 से 41.4 हुआ लखनऊ का पारा
लखनऊ का तापमान शुक्रवार को 45 पार चला गया था और यह अपने आप में एक रिकार्ड था। वहीं शनिवार को तापमान में 3.7 डिग्री की गिरावट आई और यह 41.4 डिग्री दर्ज हुआ, जो सामान्य से 2.2 डिग्री अधिक था। रविवार को बादलों की लुकाछिपी बनी रहेगी।

बूंदाबांदी के साथ पर हीट वेव का अलर्ट
आंचलिक मौसम विज्ञान केन्द्र के निदेशक, जेपी गुप्ता के मुताबिक, आज वाराणसी, गोरखपुर, प्रयागराज, लखनऊ समेत अन्य जिलों में हल्की बूंदाबादी के आसार हैं। हालांकि, कुछ स्थानों पर हीटवेव का असर भी देखने को मिलेगा। लोगों से दोपहर में घरों से बाहर नहीं निकलने को कहा गया है।

2 महीने पहले आई भीषण गर्मी
सीएसए यूनिवर्सिटी के मौसम विज्ञानी डा. एसएन सुनील पांडेय ने बताया कि इस साल मार्च और अप्रैल में ही मई-जून जैसी गर्मी देखने को मिली है। इस बार गर्मी की शुरुआत समय से पहले मार्च में हो गई। अप्रैल में तो इसने प्रचंड रूप ले लिया। मौसम विभाग (IMD) के अनुसार अप्रैल में यूपी के साथ देश के मध्य और उत्तर पश्चिमी हिस्सों में दर्ज तापमान पिछले 122 सालों में सबसे अधिक रहा।

इन तीन कारणों से पड़ रही भीषण गर्मी
1. 
कानपुर मंडल और मध्य उत्तर प्रदेश कर्क रेखा के रीजन में आता है। इस कारण सबसे अधिक सूरज का ड्यूरेशन इसी इलाके में होता है। सूर्य ज्यादा समय तक जिस इलाके में चमकेगा। वहां अधिक गर्मी होना पड़ेगी।
2. उत्तर पश्चिमी हवाएं सूरज की रोशनी को पूरी तरह अनफिल्टर्ड कर रही हैं। इसका मतलब यह है कि सूर्य और पृथ्वी के बीच कोई भी बैरियर मौजूद नहीं है। इस कारण से सूर्य की किरणें तेज और ज्यादा पृथ्वी पर आती हैं। इससे तापमान में इजाफा होता है।

3.उत्तर पश्चिमी हवाएं जो गर्म जमीन जैसे थार का मरुस्थल और राजस्थान का गर्म क्षेत्र और बड़े शहर जहां हीट आईलैंड बन जाते हैं वहां से आती हैं। हिट लैंड को छूते हुए तो हवाएं और भी और गर्म हो जाती हैं, जिससे गर्मी और तापमान बढ़ जाते हैं।

यूपी में 14 जून को एंट्री करेगा मानसून

  • 1 जून से 7 जून: तिरूवनंतपुरम, चेन्नई, उडुपी, पंजिम, गंगवटी और इन शहरों के आस पास 1 जून से 7 जून के बीच मानसून की एंट्री हो सकती है।
  • 8 जून से 13 जून: हैदराबाद, मछलीपट्टनम, विजाग, कटक, पुरी, सतारा, कोल्हापुर, पुणे, मुंबई, अहमद नगर, गया, कोलकाता और आस पास के इलाकों में 8 जून से 13 जून के बीच मॉनसून की एंट्री हो सकती है।
  • 14 जून से 21 जून : सूरत, जलगांव, नागपुर, रायपुर, अहमदाबाद, खंडावा, बिलासपुर, जमशेदपुर, वाराणसी, छपरा, पिथौरागढ़ और उत्तराखंड के अन्य शहरों और आस पास के इलाकों में 14 जून से 21 जून के बीच मॉनसून की एंट्री हो सकती है।
  • 21 जून से 30 जून: भोपाल, भुज, लखनऊ, आजमगढ़,आगरा, दिल्ली, चंडीगढ़, शिमला, जालंधर, लद्दाख, श्रीनगर और आस पास के शहरों में 22 जून से 30 जून के बीच मॉनसून की एंट्री हो सकती है।
  • 1 जुलाई से 8 जुलाई: अजमेर, जैसलमेर, जोधपुर और जयपुर व आस पास के शहरों में 1 जुलाई से 8 जुलाई के बीच मानसून की एंट्री हो सकती है।
  • निम्न दाब का क्षेत्र बनने से राहत़
    मौसम विभाग के वैज्ञानिकों के मुताबिक जमीन के गर्म होने पर हवा भी गर्म होती है। गर्म और हल्की होकर हवा ऊपर उठती है। गर्म हवा अधिक नमी सोखती है, इसलिए ऊपर उठकर फैलती है। इस प्रक्रिया में ठंडी होने पर हवा में उपस्थित नमी बूंदों में बदल जाती है। उस क्षेत्र में दबाव कम हो जाता है। कुछ दूर के क्षेत्रों में ठंडी हवा आती है, जो इसे ऊपर धकेल देती है। इससे आंधी और बूंदाबांदी के हालात बनते हैं।

    खाली पेट न निकलें
    डॉक्टरों ने खासकर बच्चों को सलाह दी है कि वे धूप में पानी से नहीं खेलें। ज्यादा से ज्यादा वक्त घर के भीतर ही रहें। किसी भी उम्र की महिला या पुरुष, जब तक जरूरी काम ना हो, घर से बाहर नहीं निकलें। यदि निकलना आवश्यक हुआ तो भी खाली पेट भूलकर भी घर से बाहर न निकलें। छाछ, पानी और तरल पदार्थ ज्यादा से ज्यादा लें। भोजन में सलाद की मात्रा बढ़ा लें। बाड़ी को नार्मल तापमान पर लाने के बाद ही धूप का सामना करें, अन्यथा हीट स्ट्रोक का खतरा है।

  • हीट स्ट्रोक के प्रमुख लक्षण
    बहुत तेज सिरदर्द, चक्कर आना और सिर घूमना, गर्मी के बावजूद पसीना न आना, लाल-गर्म और सूखी स्कीन, मांसपेशियों में कमजोरी लगना या ऐंठन का अनुभव, मतली और उल्टी, धड़कन का तेज होना, सांस लेने में तकलीफ, घबराहट और बेचैनी, दौरे आना, बेहोशी की हालत।
    ऐसे करें बचाव

    • हीट स्ट्रोक से प्रभावित व्यक्ति को तुरंत अस्पताल ले जाएं।
    • जब तक चिकित्सा सहायता नहीं मिलता तब तक ठंडी जगह में रखें।
    • ढेर सारा पानी पिलाएं।रिहाइड्रेशन पेय दिए जा सकते हैं।
    • धीरे-धीरे शरीर को बर्फ के पैक से ठंडा करें, ठंडा स्प्रे करें या ठंडे पानी से स्पंज करें।
    • एक्सरसाइज करने से पहले और बाद में पानी जरूर पीयें। फल के जूस और पानी मिलाकर कम से कम आठ ग्लास तरल पदार्थ प्रतिदिन लें।
    • हल्का-तरल पौष्टिक भोजन खाएं। खाने में ककड़ी, तरबूज, नारियल, बेल को शामिल करें। पानी भी खूब पीयें।
    • हल्के रंग के और ढीले सूती कपड़े पहनें।
    • छाता या टोपी का उपयोग करके दोपहर 11 से 3 बजे के बीच धूप में बाहर निकलने से बचें।

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